Transportation
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Updated on 03 Nov 2025, 01:15 pm
Reviewed By
Aditi Singh | Whalesbook News Team
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इंटरग्लोब एविएशन लिमिटेड, जो इंडिगो के नाम से जानी जाती है, जुलाई-सितंबर तिमाही (Q2FY26) में एक सुस्त प्रदर्शन की उम्मीद कर रही है। इसके कई कारण हैं, जिनमें चल रहे भू-राजनीतिक तनाव, हवाईअड्डा बंद होना और यात्रा भावना में सामान्य मंदी शामिल है। ये मैक्रो और परिचालन दबाव वित्तीय वर्ष की पहली छमाही (H1FY26) में एयरलाइन की कमाई को भी प्रभावित करेंगे।
हालांकि पिछली तिमाही की तुलना में प्रदर्शन सुस्त रह सकता है, लेकिन इंडिगो के परिणाम पिछले साल की इसी अवधि की तुलना में बेहतर रहने की उम्मीद है, जब एयरलाइन को बड़ी संख्या में विमानों की ग्राउंडिंग के कारण महत्वपूर्ण नुकसान हुआ था। घरेलू हवाई यातायात, जो भारत के विमानन बाजार का एक बड़ा हिस्सा है, में मंदी के संकेत दिखे हैं, जिसमें जुलाई और अगस्त 2025 में यात्री यातायात में साल-दर-साल गिरावट आई है। सितंबर तिमाही आम तौर पर भारतीय वाहकों के लिए एक नरम अवधि होती है, लेकिन इस वर्ष के दबावों ने गिरावट को और बढ़ा दिया है।
इन चुनौतियों के बावजूद, इंडिगो का घरेलू क्षेत्र में 64% का बाजार हिस्सा बना हुआ है। आनंद राठी और नुवामा जैसे ब्रोकरेज FY26 की दूसरी छमाही (H2FY26) में बेहतर प्रदर्शन की उम्मीद कर रहे हैं, जिसका मुख्य कारण अंतरराष्ट्रीय मार्गों का विस्तार, त्योहारी मौसम में बढ़ी हुई मांग और संभावित GST दर कटौती से विवेकाधीन खर्च को बढ़ावा मिलना है।
इंडिगो की Q2 आय घोषणा (4 नवंबर) के दौरान देखने योग्य मुख्य बिंदु: लाभप्रदता और राजस्व: Q1FY26 में इंडिगो ने ₹2,176 करोड़ का शुद्ध लाभ और ₹20,496 करोड़ का राजस्व दर्ज किया, दोनों पिछली तिमाही से कम थे। पिछले वर्ष ₹987 करोड़ का घाटा हुआ था। लोड फैक्टर और यील्ड्स: Q2 में यील्ड्स पर और दबाव आने की उम्मीद है क्योंकि एयरलाइंस मांग बढ़ाने के लिए किराए कम कर सकती हैं। इंडिगो का "हाइब्रिड" मॉडल दीर्घकालिक रूप से सकारात्मक माना जा रहा है। लागत मेट्रिक्स: उपलब्ध सीट क्षमता (ASK) बढ़ी लेकिन राजस्व यात्री किलोमीटर (RPK) घटा, जो कम मांग और लाभप्रदता पर दबाव का संकेत है। RASK भी गिरा। इंधन-रहित CASK थोड़ा बढ़ा, जो मार्जिन पर कसाव का संकेत देता है। भू-राजनीतिक अनिश्चितता और प्रतिकूल विदेशी मुद्रा आंदोलनों के कारण ईंधन की लागत में वृद्धि भी चिंता का विषय है। फ्लीट की संख्या: Q1FY26 में विमानों की ग्राउंडिंग और लीज रिटर्न के कारण फ्लीट की उपलब्धता कम थी। इंडिगो अगले कुछ वर्षों में प्रति सप्ताह लगभग एक विमान शामिल करने की योजना बना रही है और उसने लंबी दूरी के अंतरराष्ट्रीय मार्गों को बढ़ावा देने के लिए एयरबस से बड़े वाइड-बॉडी विमानों का ऑर्डर कन्फर्म किया है। अंतर्राष्ट्रीय विस्तार: यूरोप एक प्रमुख लक्ष्य बना हुआ है, इंडिगो अपना अंतरराष्ट्रीय बाजार हिस्सा बढ़ाना चाहती है। अन्य वाहकों से प्रतिस्पर्धा भी बढ़ रही है।
प्रभाव: इस खबर का इंडिगो के स्टॉक मूल्यांकन और निवेशक भावना पर सीधा प्रभाव पड़ेगा।
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