Mutual Funds
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Updated on 11 Nov 2025, 07:55 am
Reviewed By
Aditi Singh | Whalesbook News Team
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अक्टूबर 2025 में इक्विटी म्यूचुअल फंडों में ₹24,690 करोड़ का नेट इनफ्लो दर्ज किया गया, जो सितंबर के ₹30,422 करोड़ की तुलना में कम है, और यह लगातार तीसरे महीने धीमी गति का संकेत है। विशेषज्ञों का सुझाव है कि यह मंदी बाजार में तेज़ी के बाद निवेशकों द्वारा लाभ बुकिंग (profit booking) और त्योहारी मौसम के कारण है, हालांकि इक्विटी में अंतर्निहित निवेशक विश्वास मजबूत बना हुआ है। फ्लेक्सी-कैप फंड्स शीर्ष प्रदर्शनकर्ता रहे, जिन्होंने लगातार तीसरे महीने ₹8,928 करोड़ आकर्षित किए, क्योंकि निवेशकों ने व्यापक विविधीकरण (broad diversification) को प्राथमिकता दी। मिड-कैप (₹3,807 करोड़) और स्मॉल-कैप (₹3,476 करोड़) फंडों में भी इनफ्लो आया, हालांकि धीमी गति से, संभवतः मूल्यांकन (valuation) और अस्थिरता (volatility) चिंताओं के कारण। सिस्टिमैटिक इन्वेस्टमेंट प्लान (SIPs) एक मजबूत बिंदु बने हुए हैं, जहाँ इस वित्तीय वर्ष में वार्षिक योगदान 45% साल-दर-साल बढ़ा है। SIP एसेट्स अब उद्योग के कुल एसेट्स अंडर मैनेजमेंट (AUM) का 20% हैं। डिविडेंड यील्ड फंड्स (-₹178 करोड़) और ईएलएसएस (इक्विटी लिंक्ड सेविंग्स स्कीम्स) (-₹665 करोड़) में आउटफ्लो हुआ, जो संभवतः कर-बचत (tax-saving) मौसम और लाभ-वसूली से जुड़ा है। ऋण-उन्मुख (Debt-oriented) फंडों ने एक उल्लेखनीय रिकवरी देखी, जिसमें अक्टूबर में नेट इनफ्लो ₹1.60 लाख करोड़ तक पहुँच गया, जो सितंबर के आउटफ्लो से एक तेज उलटफेर है। इस उछाल का मुख्य कारण लिक्विड फंड (₹89,375 करोड़) और ओवरनाइट फंड (₹24,051 करोड़) में बड़ी मात्रा में इनफ्लो था, क्योंकि संस्थागत निवेशकों ने अधिशेष नकदी (surplus cash) को फिर से तैनात किया। मनी मार्केट फंडों ने भी एक मजबूत उछाल देखा। कॉर्पोरेट बॉन्ड फंडों ने स्थिर आकर्षण दिखाया, जबकि क्रेडिट रिस्क फंड कमजोर बने रहे, जो निवेशक सतर्कता का संकेत देते हैं। लंबी अवधि के बॉन्ड फंडों में गतिविधि सुस्त रही, और यील्ड अस्थिरता (yield volatility) के बीच गिल्ट फंडों में आउटफ्लो देखा गया। गोल्ड ईटीएफ (Gold ETF) ने ₹7,743 करोड़ के नेट इनफ्लो के साथ निवेशकों की लगातार रुचि को आकर्षित करना जारी रखा, जिससे वैश्विक अनिश्चितताओं के बीच सुरक्षित-संपत्ति (safe-haven asset) के रूप में उनकी भूमिका मजबूत हुई। प्रभाव: ये प्रवाह बाजार की तरलता (liquidity) और निवेशक भावना (investor sentiment) को महत्वपूर्ण रूप से प्रभावित करते हैं। इक्विटी इनफ्लो में मंदी सतर्कता का संकेत दे सकती है, जबकि मजबूत डेट और गोल्ड ईटीएफ इनफ्लो विविधीकरण (diversification) और जोखिम से बचाव (risk aversion) को इंगित करते हैं। एसआईपी (SIP) की निरंतर मजबूती इक्विटी बाजारों के लिए एक सकारात्मक दीर्घकालिक संकेतक है। कुल मिलाकर, यह डेटा एक गतिशील बाजार को दर्शाता है जहाँ निवेशक अवसरों और जोखिमों को नेविगेट कर रहे हैं। रेटिंग: 8/10। कठिन शब्द: नेट इनफ्लो (Net inflows): किसी फंड श्रेणी में निवेश की गई कुल राशि में से निकाली गई राशि को घटाना। इक्विटी-उन्मुख फंड (Equity-oriented funds): म्यूचुअल फंड जो मुख्य रूप से स्टॉक (इक्विटी) में निवेश करते हैं। फ्लेक्सी-कैप फंड (Flexi-cap funds): म्यूचुअल फंड जो किसी भी बाजार पूंजीकरण (बड़े, मध्यम या छोटे) की कंपनियों में निवेश कर सकते हैं। एसआईपी (SIP) (सिस्टिमैटिक इन्वेस्टमेंट प्लान): म्यूचुअल फंड में नियमित अंतराल (जैसे, मासिक) पर एक निश्चित राशि का निवेश करने की विधि। एयूएम (AUM) (एसेट्स अंडर मैनेजमेंट): किसी वित्तीय संस्थान द्वारा अपने ग्राहकों की ओर से प्रबंधित सभी वित्तीय संपत्तियों का कुल बाजार मूल्य। ऋण-उन्मुख फंड (Debt-oriented funds): म्यूचुअल फंड जो मुख्य रूप से बॉन्ड और सरकारी प्रतिभूतियों जैसे निश्चित-आय प्रतिभूतियों में निवेश करते हैं। लिक्विड फंड (Liquid funds): बहुत ही अल्पकालिक मनी मार्केट इंस्ट्रूमेंट्स में निवेश करने वाले शॉर्ट-टर्म डेट म्यूचुअल फंड, जो उच्च तरलता प्रदान करते हैं। ओवरनाइट फंड (Overnight funds): एक दिन की परिपक्वता वाली प्रतिभूतियों में निवेश करने वाले डेट फंड।