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Updated on 11 Nov 2025, 01:39 pm
Reviewed By
Aditi Singh | Whalesbook News Team
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भारत का नागरिक उड्डयन नियामक, नागरिक उड्डयन महानिदेशालय (DGCA), देश भर के एयरक्राफ्ट मेंटेनेंस इंजीनियरिंग (AME) स्कूलों का एक व्यापक ऑडिट करने के लिए तैयार है। यह पहल फ्लाइट ट्रेनिंग ऑर्गनाइजेशन (FTOs) की राष्ट्रव्यापी समीक्षा के बाद की जा रही है। आगामी ऑडिट में AME संस्थानों का विभिन्न मापदंडों पर कड़ाई से मूल्यांकन किया जाएगा, जिसमें सिविल एविएशन रिक्वायरमेंट (CAR) मानकों का पालन, उनके बुनियादी ढांचे की पर्याप्तता और उनके प्रशिक्षण कार्यक्रमों की गुणवत्ता शामिल है। कार्यशालाओं और सिम्युलेटर एक्सेस जैसी व्यावहारिक सीखने की सुविधाओं पर विशेष ध्यान दिया जाएगा।
वर्तमान में भारत में 50 से अधिक DGCA-अनुमोदित AME प्रशिक्षण संस्थान हैं, जो घरेलू और अंतर्राष्ट्रीय एयरलाइन्स, MROs और सामान्य विमानन के लिए तकनीकी कर्मियों को प्रशिक्षित करने के लिए जिम्मेदार हैं। हालांकि, उद्योग विशेषज्ञों ने स्नातक AME इंजीनियरों के कौशल और विमानन क्षेत्र की विकसित होती मांगों के बीच बढ़ती खाई को उजागर किया है। इस समीक्षा में MROs के साथ प्लेसमेंट रिकॉर्ड और इंटर्नशिप टाई-अप के साथ-साथ नए डिजिटल रिकॉर्ड-कीपिंग और सुरक्षा मानदंडों के अनुपालन की भी जांच की जाएगी।
इस ऑडिट का समय महत्वपूर्ण है, क्योंकि यह भारतीय विमानन क्षेत्र के अभूतपूर्व बेड़े विस्तार के साथ मेल खाता है, जिसमें 1,000 से अधिक नए विमानों के ऑर्डर शामिल हैं। इस वृद्धि से कुशल रखरखाव कर्मियों की पर्याप्त मांग पैदा होने की उम्मीद है। DGCA का लक्ष्य यह सुनिश्चित करना है कि ये AME स्कूल नौकरी के लिए तैयार इंजीनियर तैयार करें जो आधुनिक बेड़े और प्रौद्योगिकियों को संभाल सकें।
प्रभाव इस खबर का भारतीय शेयर बाजार पर मध्यम प्रभाव पड़ सकता है, विशेष रूप से विमानन सेवा प्रदाताओं, एयरलाइन्स और संभावित रूप से MRO कंपनियों को प्रभावित कर सकता है, जो कुशल श्रम की गुणवत्ता और उपलब्धता को प्रभावित करेगा। ऑडिट सख्त नियमों को जन्म दे सकता है, जिससे प्रशिक्षण संस्थानों के लिए अनुपालन लागत बढ़ सकती है, लेकिन यह विमानन कार्यबल की दीर्घकालिक क्षमता में सुधार करेगा। रेटिंग: 6/10।
कठिन शब्द: नागरिक उड्डयन महानिदेशालय (DGCA): भारत में नागरिक उड्डयन के लिए प्राथमिक नियामक निकाय, जो सुरक्षा, संरक्षा और नीति-निर्माण के लिए जिम्मेदार है। एयरक्राफ्ट मेंटेनेंस इंजीनियरिंग (AME): पेशेवर जो विमानों का निरीक्षण, रखरखाव, मरम्मत और ओवरहाल करने के लिए प्रशिक्षित होते हैं। फ्लाइट ट्रेनिंग ऑर्गनाइजेशन (FTOs): स्कूल जो पायलटों और अन्य विमानन चालक दल के लिए प्रशिक्षण प्रदान करते हैं। सिविल एविएशन रिक्वायरमेंट (CAR): DGCA जैसे विमानन नियामक निकायों द्वारा जारी किए गए विशिष्ट नियम और मानक। मेंटेनेंस, रिपेयर और ओवरहाल (MRO) ऑर्गनाइजेशन: कंपनियां जो विमानों के रखरखाव और मरम्मत के लिए सेवाएं प्रदान करती हैं। यूरोपियन यूनियन एविएशन सेफ्टी एजेंसी (EASA): यूरोपीय संघ के लिए विमानन सुरक्षा नियामक। फेडरल एविएशन एडमिनिस्ट्रेशन (FAA): संयुक्त राज्य अमेरिका के लिए विमानन सुरक्षा नियामक।