Economy
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Updated on 11 Nov 2025, 11:00 am
Reviewed By
Simar Singh | Whalesbook News Team
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एडको इंडिया की रिपोर्ट के अनुसार, अगस्त और अक्टूबर के बीच भारत के खपत-संबंधित क्षेत्रों में हायरिंग में 17% की साल-दर-साल (YoY) वृद्धि देखी गई। इस वृद्धि को मजबूत उपभोक्ता भावना, बढ़े हुए त्योहारी खर्च और बढ़ती बाजार पहुंच से बढ़ावा मिला। महत्वपूर्ण त्योहारी तिमाही में 2024 की इसी अवधि की तुलना में गिग और अस्थायी रोजगार में 25% की भारी वृद्धि दर्ज की गई। खुदरा (Retail), ई-कॉमर्स (E-commerce), बैंकिंग, वित्तीय सेवाएँ और बीमा (BFSI), लॉजिस्टिक्स (Logistics), और हॉस्पिटैलिटी (Hospitality) जैसे प्रमुख क्षेत्रों में दशहरा के आसपास अल्पकालिक (short-term) हायरिंग में तेज वृद्धि देखी गई। एडको इंडिया ने बताया कि हायरिंग की मात्रा और वेतन पिछले तीन वर्षों के स्तर से अधिक हो गए हैं, जिससे 2025 पोस्ट-कोविड-19 के बाद की रिकवरी के बाद रोजगार के लिए सबसे मजबूत साल बन गया है। रिपोर्ट में 2024 की तुलना में गिग और अस्थायी रोजगार में 25% की वृद्धि पर भी प्रकाश डाला गया, जिसमें महिलाओं की भागीदारी में 30-35% की उल्लेखनीय वृद्धि हुई, विशेष रूप से खुदरा, लॉजिस्टिक्स, ग्राहक सहायता और वित्तीय सेवाओं में। वेतन में एंट्री-लेवल पदों के लिए 12-15% और अनुभवी भूमिकाओं के लिए 18-22% की वृद्धि देखी गई। हायरिंग की इस सकारात्मक प्रवृत्ति के आगामी शादी के मौसम और 2026 की शुरुआत तक जारी रहने की उम्मीद है, जिसे हॉस्पिटैलिटी, BFSI, यात्रा और लॉजिस्टिक्स में निरंतर मांग का समर्थन प्राप्त है। एडको ने साल-दर-साल (YoY) 18-20% की समग्र हायरिंग वॉल्यूम वृद्धि का अनुमान लगाया है। जबकि दिल्ली-एनसीआर, मुंबई, बेंगलुरु, हैदराबाद और चेन्नई जैसे प्रमुख महानगरीय क्षेत्रों में अधिकांश हायरिंग हुई, टियर II और III शहरों ने 21-25% स्टाफिंग मांग वृद्धि के साथ तेज वृद्धि प्रदर्शित की। लखनऊ, जयपुर और कोयंबटूर जैसे शहरों ने इस प्रवृत्ति का नेतृत्व किया, जिसमें कानपुर और वाराणसी जैसे उभरते हब भी शामिल हैं। सेक्टर-विशिष्ट मुख्य बातों में क्विक कॉमर्स (Quick commerce) और ओमनी-चैनल (Omni-channel) रणनीतियों से संचालित खुदरा और ई-कॉमर्स हायरिंग में 28% की वृद्धि, और लॉजिस्टिक्स और लास्ट-माइल डिलीवरी (last-mile delivery) में 35-40% की वृद्धि शामिल है। बीएफएसआई क्षेत्र में फील्ड सेल्स (field sales) और पॉइंट ऑफ सेल (Point of Sale - POS) भूमिकाओं के लिए 30% मांग वृद्धि देखी गई, खासकर छोटे शहरों में। हॉस्पिटैलिटी और यात्रा में त्योहारी यात्रा और शादी की बुकिंग के कारण 25% की वापसी हुई। Impact: इस समाचार का भारतीय शेयर बाजार पर महत्वपूर्ण सकारात्मक प्रभाव पड़ता है। बढ़ी हुई हायरिंग, उच्च वेतन और मजबूत उपभोक्ता खर्च सीधे तौर पर उपभोक्ता-संबंधित क्षेत्रों, बीएफएसआई, लॉजिस्टिक्स और हॉस्पिटैलिटी में कंपनियों के लिए उच्च राजस्व और लाभप्रदता में तब्दील हो जाता है। इससे निवेशक का विश्वास बढ़ सकता है और इन क्षेत्रों में काम करने वाली कंपनियों के स्टॉक की कीमतों में वृद्धि हो सकती है। रिपोर्ट व्यापक आर्थिक सुधार और विकास का सुझाव देती है, जो आम तौर पर शेयर बाजार के लिए तेजी (bullish) है। टियर II/III शहरों में वृद्धि व्यवसायों के लिए विस्तारशील बाजार के अवसरों का भी संकेत देती है। Impact Rating: 8/10 Difficult Terms: * Year-on-year (YoY): पिछले वर्ष की समान अवधि से प्रदर्शन मेट्रिक्स की तुलना। * Gig Economy: एक श्रम बाजार जिसमें स्थायी नौकरियों के बजाय अल्पकालिक अनुबंध या फ्रीलांस काम का प्रचलन हो। * BFSI: बैंकिंग, वित्तीय सेवाएँ और बीमा (Banking, Financial Services, and Insurance) के लिए एक संक्षिप्त नाम। * Omni-channel: एक रणनीति जो एक सहज ग्राहक अनुभव प्रदान करने के लिए विभिन्न चैनलों (ऑनलाइन, ऑफलाइन, मोबाइल) को एकीकृत करती है। * Point of Sale (POS): वह स्थान जहाँ खुदरा लेनदेन पूरा होता है, आमतौर पर एक चेकआउट काउंटर या बिक्रीकर्मी द्वारा उपयोग किया जाने वाला मोबाइल डिवाइस।