Commodities
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Updated on 15th November 2025, 12:02 PM
Author
Aditi Singh | Whalesbook News Team
इस हफ्ते सोने की कीमतें सुरक्षित निवेश (safe-haven buying) और डॉलर के कमजोर होने के कारण ₹4,694 प्रति 10 ग्राम बढ़ीं, जो ₹1,24,794 पर बंद हुईं। हालांकि, शुक्रवार को अमेरिकी सरकार के शटडाउन के खत्म होने और अमेरिकी फेडरल रिजर्व द्वारा ब्याज दर में कटौती की उम्मीदें कम होने के कारण कीमतें लगभग ₹5,000 तक गिर गईं। अंतरराष्ट्रीय सोने की कीमतें भी गिरीं। विश्लेषकों का अनुमान है कि जब तक सुरक्षित निवेश की मांग नहीं बढ़ती या फेड की नीति में बदलाव नहीं होता, तब तक कीमतें नरम बनी रहेंगी।
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पिछले हफ्ते 24-कैरेट सोने (10 ग्राम) की कीमत में ₹4,694 की भारी बढ़ोतरी देखी गई, जो ₹1,24,794 पर बंद हुई। इस उछाल का मुख्य कारण वैश्विक अनिश्चितताओं और अमेरिकी डॉलर में गिरावट के बीच निवेशकों का सुरक्षित निवेश (safe havens) की ओर रुख करना था। अंतरराष्ट्रीय सोने की कीमतों में भी यह रुझान दिखा, जो लगभग $4,000 प्रति ट्रॉय औंस पर कारोबार कर रहा था। हालांकि, शुक्रवार को पीली धातु में लगभग ₹5,000 की तेज इंट्राडे गिरावट आई, जो ₹1,21,895 के निचले स्तर पर पहुँच गई, फिर आंशिक रूप से ठीक हुई। इस तेज गिरावट का श्रेय अमेरिकी सरकार के शटडाउन के समाधान को दिया गया, जिससे तत्काल आर्थिक व्यवधान की चिंताएं कम हुईं, और सबसे महत्वपूर्ण, अमेरिकी फेडरल रिजर्व के अध्यक्ष जेरोम पॉवेल की टिप्पणियों को। पॉवेल की 'हॉकिश' टिप्पणियों ने अमेरिकी ब्याज दर में तत्काल कटौती की उम्मीदों को कम कर दिया, जो पहले सोने की कीमतों का समर्थन कर रही थीं। बाजार की धारणा बदल गई, दिसंबर में दर में कटौती की संभावना काफी कम हो गई। प्रभाव: इस खबर का सीधा असर सोने और अन्य कीमती धातुओं के निवेशकों पर पड़ता है, साथ ही संबंधित कमोडिटीज रखने वालों पर भी। सोने की कीमतों में उतार-चढ़ाव से आभूषणों पर उपभोक्ता खर्च और सोने की खदान कंपनियों की लाभप्रदता प्रभावित हो सकती है। कीमतों की अस्थिरता व्यापक आर्थिक और भू-राजनीतिक चिंताओं को दर्शाती है, जो बाजार की भावना में अंतर्दृष्टि प्रदान करती है। रेटिंग: 7/10. कठिन शब्द: सेफ हेवन बाइंग (Safe Haven Buying): निवेशक आर्थिक अस्थिरता के दौरान अपनी संपत्ति की सुरक्षा के लिए सोने जैसी संपत्तियों को खरीदते हैं। यूएस गवर्नमेंट शटडाउन (US Government Shutdown): विधायी फंडिंग की कमी के कारण गैर-आवश्यक सरकारी कार्यों का रुक जाना। हॉकिश रिमार्क्स (Hawkish Remarks): केंद्रीय बैंक अधिकारियों द्वारा कड़ी मौद्रिक नीति को प्राथमिकता देने वाले बयान, जिससे ब्याज दरें बढ़ सकती हैं। डॉलर इंडेक्स (Dollar Index): एक बेंचमार्क जो प्रमुख मुद्राओं की तुलना में अमेरिकी डॉलर की मजबूती को दर्शाता है। बुल्लियन (Bullion): परिष्कृत सोना या चांदी, आमतौर पर बार या सिल्लियों के रूप में। फेडरल रिजर्व (Federal Reserve): संयुक्त राज्य अमेरिका का केंद्रीय बैंक, जो मौद्रिक नीति के लिए जिम्मेदार है।