Commodities
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Updated on 07 Nov 2025, 03:36 am
Reviewed By
Abhay Singh | Whalesbook News Team
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7 नवंबर को सोने की कीमतों में स्थिरता देखी गई, जो संयुक्त राज्य अमेरिका से आने वाले विपरीत आर्थिक संकेतों के बीच संतुलन बनाने का असर था। निवेशक अप्रत्याशित रूप से कमजोर अमेरिकी रोजगार डेटा का विश्लेषण कर रहे थे, जो आम तौर पर सोने जैसी सुरक्षित-संपत्ति की मांग का समर्थन करता है। साथ ही, फेडरल रिजर्व के एक अधिकारी के बयानों ने आक्रामक ब्याज दर में कटौती की उम्मीदों को सीमित कर दिया, जो अक्सर सोने की कीमतों पर नीचे की ओर दबाव डालता है। नतीजतन, गोल्ड बुलियन लगभग $3,987 प्रति औंस पर कारोबार कर रहा था, जो पिछले सत्रों से काफी हद तक अपरिवर्तित था। डेटा ने दो दशकों में अक्टूबर में सबसे बड़ी नौकरियों में कटौती का संकेत दिया, जिससे 10-वर्षीय अमेरिकी ट्रेजरी यील्ड में महत्वपूर्ण गिरावट आई, जो आर्थिक सावधानी का संकेत है। इसके विपरीत, चांदी की कीमतों में लगातार तीसरे दिन वृद्धि जारी रही, जबकि प्लैटिनम में मामूली वृद्धि देखी गई और पैलेडियम स्थिर रहा। रिपोर्ट में कई भारतीय शहरों में विभिन्न शुद्धता के सोने और चांदी की विस्तृत मौजूदा कीमतें भी प्रदान की गई हैं। प्रभाव: यह खबर कमोडिटी बाजार के निवेशकों को सीधे प्रभावित करती है जो वैश्विक आर्थिक संकेतकों और केंद्रीय बैंक की नीतियों को ट्रैक करते हैं। भारतीय निवेशकों के लिए, शहरों के अनुसार सोने और चांदी का विस्तृत मूल्य डेटा व्यक्तिगत वित्त और निवेश रणनीति के लिए मूल्यवान है। अमेरिकी आर्थिक स्वास्थ्य और मौद्रिक नीति के बीच की परस्पर क्रिया वैश्विक स्तर पर कीमती धातुओं के मूल्यांकन को आकार देना जारी रखेगी।